High Blood Pressure: हाई ब्लड प्रेशर की समस्या से बचने के लिए टिप्स

आजकल बहुत से लोग उच्च रक्तचाप से ग्रस्त हैं, लेकिन उनको इसका एहसास नहीं है। ब्लड प्रेशर का सामान्य से कम या अधिक होना, दोनों ही घातक होता है। यह किसी को भी हो सकती है। एक बार यह समस्या शुरू हो जाए, तो इसे नियंत्रण में रखना बेहद ज़रूरी हो जाता है। ऐसे में आपका लाइफस्टाइल और ख़ासतौर पर डाइट रक्तचाप पर एक बड़ा प्रभाव डाल सकते हैं। ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने के लिए ज्यादातर लोग दवाओं का सहारा लेते हैं,लेकिन हेल्थ एक्सपर्ट खुद नैचुरल डाइट से ब्लड प्रेशर को कंट्रोल रखना ज्यादा बेहतर विकल्प मानते हैं। अगर रक्तचाप 120/80 mmHg है तो यह बेहतर माना जाता है। यदि इससे ज्यादा हो तो सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है। जब मरीज का रक्तचाप 140-90 से अधिक होता है तो उस स्थिति को उच्च रक्तचाप कहा जाता है। बीपी कम करने के घरेलू उपाय के बाद भी जब मरीज को हाई ब्लड प्रेशर के लक्षण के रूप में सीने में दर्द और भारीपन महसूस हो, और सांस लेने में परेशानी हो, सिर दर्द हो, कमजोरी या धुंधला दिखाई दे तो मरीज को डॉक्टर से जल्द से जल्द मिलना चाहिए, आज हम आपको कुछ ऐसे उपाय बता रहे हैं जो ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने में मददगार साबित हो सकते हैं।

5 Sneaky Reasons Your Blood Pressure is High, According to a Dietitian |  EatingWell

उच्च रक्तचाप क्या है? (What is High Blood Pressure?)

दिल ख़ून को पंप करके पूरे शरीर में पहुंचाता है। मतलब ये कि पूरे शरीर को ऑक्सीजन और एनर्जी पहुंचाने की ज़िम्मेदारी दिल पर होती है। ख़ून हमारी धमनियों की दीवारों पर जो प्रेशर डालते हुए आगे बढ़ता है, उसे ब्लड प्रेशर (BP) कहा जाता है। ब्लड प्रेशर बढ़ने से धमनियों और दिल पर दबाव पड़ता है, जिससे हार्ट अटैक या दिल से जुड़ी दूसरी परेशानियां पैदा हो सकती हैं। यह बल अगर सामान्य से तेज होता है तो उसे हाई ब्लड-प्रेशर कहते हैं और इसके उलट अगर यह बल सामान्य से धीमा होता है तो उसे निम्न ब्लड-प्रेशर  कहते है। ब्लड प्रेशर को दो रीडिंग के ज़रिए मापा जाता है।

  • सिस्टोलिक और
  • डायस्टोलिक

वयस्कों के लिए सामान्य रक्तचाप 120 mmHg से कम सिस्टोलिक दबाव और 80 mmHg से नीचे डायस्टोलिक दबाव होता है। यह आमतौर पर डायस्टोलिक दबाव के ऊपर सिस्टोलिक रक्तचाप के साथ लिखा जाता है, जैसे: 120/80। ब्लड प्रेशर की स्टेज बहुत हद तक व्यक्ति की उम्र और उसकी जीवनशैली पर निर्भर करता है।

हाई ब्लड प्रेशर के लिए कौन से खाद्य पदार्थ अच्छे हैं कौन से नहीं?

(Which Foods are Good for High Blood Pressure and which are Not?)

अनार और चुकंदर डाइट में शामिल करें (Include pomegranate and Beetroot in Diet)

 चुकंदर में नाइट्रिक ऑक्साइड पाया जाता है, जो रक्त नलिकाओं को फैलने में मदद करता है। इसलिए, चुकंदर का सेवन करने से उच्च रक्तचाप कम होने लगता है। अनार को एंटीऑक्सीडेंट, विटामिन्स, मिनरल्स और फाइबर का अच्छा स्रोत माना गया है। विभिन्न शोधों में पाया गया है कि अगर आप नियमित रूप से अनार जूस का सेवन करते हैं, तो सिस्टोलिक रक्तचाप में कमी आती है । डॉक्टरों के अनुसार, जिन्हें उच्च रक्तचाप की समस्या है, उन्हें हर कुछ दिनों के अंतराल में एक-दो गिलास अनार जूस और चुकंदर जूस पीना चाहिए।

पोटेशियम की मात्रा ज्यादा हो और सोडियम की मात्रा कम हो (High Potassium and Low Sodium)

यदि उच्‍च रक्‍तचाप की समस्‍या है तो नमक का सेवन कम करना चाहिए। साथ ही  चीनी, रिफाइंड खाद्य-पदार्थों, तली-भुनी चीजों और जंक फूड से परहेज करना चाहिए। टमाटर से बने डिब्बाबंद प्रोडक्ट जैसे टोमेटो केचप और टोमेटो जूस आदि में सोडियम की मात्रा अधिक होती है और ये बीपी की परेशानी बढ़ा सकते हैं। पोटेशियम से भरपूर खाद्य पदार्थों में सेम व मटर, गिरियां, पालक, बंदगोभी जैसी सब्जियां, केला, पपीता व खजूर आदि प्रमुखता से शामिल होते हैं । ब्‍लड प्रेशर के मरीज के खाने में पोटेशियम की मात्रा ज्यादा हो और सोडियम की मात्रा कम होनी चाहिए। ब्लड प्रेशर के मरीज जितना पोटैशियम युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन करेंगे, उतना ही यूरिन के जरिये सोडियम को शरीर से निकालेंगे।

विटामिन-सी युक्त फल लें (Take Fruits Rich in Vitamin-C)

उच्‍च रक्‍तचाप की समस्‍या वाले लोगों को खटट्टे फल खाने चाहिए। अंगूर, कीवी, संते, नींबू सहित खट्टे फलों में ब्लड प्रेशर को कम करने की क्षमता होती है। चूंकि ये सभी फल विटामिन , मिनरल से भरपूर हैं, इसलिए ये हाई ब्लड प्रेशर जैसे ह्दय रोग के जोखिम कारकों को कम करके दिल को स्वस्थ रखने में मदद कर सकते हैं। इन फलों को आप पूरा खाएं, सलाद में शामिल करें या फिर बीपी को कंट्रोल करने के लिए इनका जूस बनाकर पिएं।

सूखे मेवे और बीज डाइट में शामिल करें (Include Dry Fruits and Seeds in the Diet)

पिस्ता, अखरोट, बादाम, अलसी के बीज, सूरजमुखी के बीज, कद्दू के बीज, चिया बीज आदि।ये बीज पोषक तत्वों की खान हैं । इसमें पोटेशियम, मैग्रीशियम और फाइबर है, जो हेल्दी ब्लड प्रेशर को रैगुलेट करने के लिए जरूरी है। कद्दू के बीजों को पोषक तत्वों का पॉवरहाउस कहा जाए, जो गलत नहीं होगा। जिन लोगों का अक्सर ही बीपी हाई रहता है, उन्हें कद्दू के बीज का सेवन जरूर करना चाहिए। ब्लड प्रेशर को कम करने में बहुत हेल्प मिलेगी।

कैफीन को कम करें (Cut down on Caffeine)

ऐसे मरीजों को कैफीन वाली चीजों से भी खास परहेज करना चाहिए। चाय-कॉफी इन्हें कम से कम मात्रा में पीनी चाहिए। कैफीन हाइपरटेंशन को तेजी से बढ़ाता है और हाई बीपी की वजह बनता है।

अनसैचुरेटेड फैट्स (Unsaturated Fats)

असंतृप्त वसा जैसे जैतून का तेल, सोयाबीन तेल के सेवन से उच्च रक्तचाप को प्रबंधित करने में काफी मदद मिलती है। इन तेल को अपने आहार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा जरूर बनाएं।

धूम्रपान और शराब सेवन ना करें (Don’t Smoke and Drink Alcohol)

धूम्रपान और शराब पीने से हाई ब्लड प्रेशर का खतरा बढ़ जाता है। शोध में बताया गया कि शराब पीने से 16 प्रतिशत केस बढ़ते है।शराब और धूम्रपान करने से ब्लड प्रेशर बढ़ता है और ब्लड वैसल्स को नुकसान पहुंचता है। ये दोनों चीजें आपके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।इसलिए बेहतर है कि इन दोनों चीजों को छोड़ दें।

शुगर यक्त खाद्य पदार्थ कम लें (Eat less Sugary Foods)

चीनी ने सभी उम्र के लोगों में मोटापा बढ़ाने में योगदान दिया है। उच्च रक्तचाप उन लोगों में अधिक सामान्य है जो अधिक वजन या मोटापे से ग्रस्त हैं। हाई बीपी में ज्यादा मीठा ना लें ऐसा इसलिए क्योंकि ज्यादा मीठा खाना, शरीर में मैग्नीशियम का नुकसान करता है और शुगर का खतरा बढ़ता है। इस वजह से ब्लड वेसेल्स को नुकसान होता है जिससे हाई बीपी की समस्या बढ़ सकती है।

हरी सब्जियां अधिक लें (Eat More Green Vegetables)

आपको अपनी डाइट में हरी पत्तेदार सब्जियों को जरूर शामिल करना चाहिए । पालक, ब्रोकली, सलाद, शतावरी, मूली की हरी पत्तियां, फूलगोभी, लौकी, करेला, कद्दू, प्याज की पत्तियां, अदरक, लहसुन, गाजर, चुकंदर, बैंगन, टमाटर, मटर आदि। हरी सब्जियां खाने से एक्स्ट्रा सोडियम निकल जाता है। हरी सब्जियां में भरपूर मात्रा में पोषक तत्व होते हैं । जिससे हार्ट हेल्दी रहता है और ब्लड प्रेशर भी कंट्रोल रहता है । हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन पकाकर ही करना चाहिए, क्योंकि कच्चे रूप में सोडियम और ऑक्सालेट की अधिकता होती है।

रोज 30 मिनट एक्सरसाइज जरूर करें (Do Exercise for 30 Minutes Daily)

अगर आप अपनी दैनिक जीवनशैली में व्यायाम को शामिल कर लें, तो आप तेजी से ब्लड प्रेशर घटा सकते हैं। इसके लिए आपको रोज सुबह कम से कम 30 मिनट तेज गति में चलना चाहिए। ध्यान दें कि चलते समय आप सांस मुंह से न लेकर नाक से लें। इसके अलावा आपको दिनभर में 4-5 लीटर पानी पीना चाहिए और थोड़ा व्यायाम करना चाहिए। इस तरह के बदलावों से आप दो सप्ताह में ब्लड प्रेशर को सामान्य कर सकते हैं।

हाई बीपी के कारण (Due to High BP)

उच्च रक्तचाप असंतुलित जीवनशैली और आहार के कारण तो होता ही है लेकिन ये भी कारण होते हैं-

  • ब्लड प्रेशर हाई होने का प्रमुख कारण मोटापा होता है। मोटे व्यक्ति में बी.पी. बढ़ने का खतरा आम व्यक्ति से ज्यादा होता है।
  • शारीरिक श्रम न करना। जो लोग व्यायाम, खेल-कूद और कोई भी शारीरिक क्रिया नहीं करते और आरामतलब जीवन जीते हैं, उन्हें रक्तचाप की समस्या हो सकती है।
  • जो व्यक्ति शुगर, दिल के रोग, किडनी के रोगों से ग्रसित होते हैं एवं जिनकी रक्त धमनियां कमजोर होती हैं उनमें रक्तचाप उच्च हो जाता है।
  • ज्यादा नमकीन खाद्य पदार्थों का सेवन करने से।
  • पिज्जा, बर्गर, चाऊमिन, मोमोज आदि  खाने से बी.पी. बढ़ जाता है।
  • जो व्यक्ति धूम्रपान और शराब का अधिक सेवन करते हैं।
  • प्रेगनेंसी के दौरान गर्भवती महिला को भी बी.पी. बढ़ने की समस्या होती है।

हाई ब्लड प्रेशर के रोगियों के लिए आवश्यक बातें (Important Things for High Blood Pressure Patients)

  • मरीज़ को कम से कम 8 घंटे की नींद ज़रूर लेनी चाहिए।
  • फल और सब्जियां अधिक खाएं।
  • डेयरी खाद्य पदार्थ चुनते समय कम वसा वाले विकल्पों का चयन करें।
  • संतृप्त वसा, कोलेस्ट्रॉल और ट्रांस फैट वाले खाद्य पदार्थों का सेवन कम करें।
  • साबुत अनाज, और नट्स का सेवन अधिक करना चाहिए।
  • डिब्बाबंद खाद्य पदार्थ, नमकीन चिप्स, ब्रेड, पिज्जा आदि का सेवन कम करना चाहिए।
  • सोडियम, मिठाई और मीठा पेय  का सेवन कम से कम करें। 
  • नकारात्मक विचारों को अपने दिल-दिमाग में बिल्कुल भी न आने दें। इससे स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है।
  • अगर संभव हो, तो नियमित रूप से व्यायाम,मेडिटेशन करें। 
  • चाय और कॉफी का सेवन कम ही करें, क्योंकि इनमें उपस्थि‍त कैफीन आपके लिए हानिकारक साबित हो सकता है। 
  • स्मोकिंग और शराब का सेवन न करे। 
  • अगर वजन ज्यादा है या फिर मोटापे का शिकार हैं, तो वजन कम करें। 
  • हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को नंगे पैर हरी घास पर 10-15 मिनट तक चलना चाहिए।
  • रोजाना अधिक मात्रा में पानी पिएं. प्रतिदिन 8-10 गिलास पानी पीकर ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में रखा जा सकता है।
  • हाई ब्लड प्रेशर के कोई भी लक्षण पहले से नहीं दिखाई देते हैं, इसलिए सिर्फ़ ब्लड प्रेशर की नियमित जांच करके ही इसका पता लगाया जा सकता है।

हाई ब्लड प्रेशर के लिए योगासन, प्राणायाम और व्यायाम

(Yogasana, Pranayama and Exercise for High Blood Pressure)

प्राणायाम और आसन से ब्लड प्रेशर (रक्तचाप) को करें नियंत्रित

आसन

  • वज्रासन
  • बालासन
  • सेतुबंधासन
  • पवनमुक्तासन

प्राणायाम

  • अनुलोम – विलोम
  • भ्रामरी प्राणायाम
  • उदगीथ,
  • उज्जायी

 व्यायाम

  • स्ट्रेचिंग (Stretching) 
  • कार्डियो (Cardio)
  • स्ट्रेंथनिंग (strengthening)

नोट: नियमित रूप से ब्लड प्रेशर मॉनिटर करने से उसको नियंत्रित रखने में आपको मदद मिलेगी। अपने डॉक्टर से नियमित परामर्श लेना बहुत जरूरी है। बेहतर है आप अपने घर में ब्लड प्रेशर को मॉनिटर करने के लिए ब्लड प्रेशर मशीन रखें। इसके साथ ही अपने डॉक्टर द्वारा  बताए इंस्ट्रक्शंस को फॉलो भी करें। 

पढ़ने के लिए धन्यवाद! 

                                                                                                                                                                              रीना जैन


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